प्रवीण आत्रेय का भूपेंद्र हुड्डा पर वार, कहा- मुद्दा विहीन विपक्ष है झूठ के सहारे

punjabkesari.in Wednesday, Apr 06, 2022 - 06:05 PM (IST)

चंडीगढ़(धरणी): भाजपा के प्रदेश प्रवक्ता प्रवीण आत्रेय ने नेता प्रतिपक्ष व पूर्व मुख्यमंत्री भुपेंद्र सिंह हुड्डा की चण्डीगढ़ में की गई प्रैस वार्ता पर निशाना साधते हुए कहा कि हरियाणा में विपक्ष मूद्दा विहीन है। इसीलिए भुपेंद्र सिंह हुड्डा प्रैस वार्ता में झूठ के सहारे प्रदेश के लोगों को बहकाने की कोशिश करते नज़र आए।

प्रवीण आत्रेय ने कहा कि नेता प्रतिपक्ष नीति आयोग की रिपोर्ट की तुलनात्मक व्याख्या करने से बचते हुए ग़लत तथ्य बता रहे हैं। आत्रेय ने कहा कि देश में कांग्रेस सरकार के कार्यकाल में ग़रीबी रेखा के निचे जीवन यापन करने वाले लोगों की संख्या लगभग 37% थी। और हरियाणा में यह आंकड़ा लगभग 13% था। वर्तमान सरकार के समय देश में आंकड़ा लगभग 21% पर आ गया है। इसमें भी ध्यान देने योग्य बात यह है कि कांग्रेस सरकार के समय गरीबी रेखा का निर्धारण करने की आय ग्रामीण क्षेत्र में लगभग 19854/- रुपए वार्षिक और लगभग 25546/- रूपए वार्षिक थी। परन्तु वर्तमान सरकार ने इस पैमाने को बढ़ाकर ग्रामीण क्षेत्र में लगभग 46080/- रुपए वार्षिक तथा शहरी क्षेत्र में लगभग 56460/- रुपए वार्षिक कर दिया। आंकड़े बताते हैं कि भाजपा सरकार में लोगों की आर्थिक स्थिति में  सकारात्मक बदलाव आया।

प्रवीण आत्रेय ने कहा कि भुपेंद्र हुड्डा अवैध कालोनियों के विषय में भी सत्य पर झूठ का परदा डालने का असफल प्रयास कर रहे हैं। आज़ भी प्रदेश के लोग भुपेंद्र सिंह हुड्डा के नेतृत्व वाली कांग्रेस सरकार को प्रापर्टी डीलर की सरकार बोलते हैं। अकेले गुरुग्राम में कांग्रेस सरकार के कार्यकाल में 100 से ज्यादा अवैध कालोनियां विकसित हुई। वर्तमान सरकार ने तो पालिसी बना कर ऐसी कालोनियों में रहने वाले लोगों को राहत दी। 

प्रवीण आत्रेय ने कहा कि हरियाणा शहरी विकास प्राधिकरण को घाटे में लाने वाले वर्तमान सरकार की आलोचना करते है। इसे कहते है "उल्टा चोर कोतवाल को डांटे" । हरियाणा की जनता नहीं भुली किस तरह ऐजेएल कम्पनी को पंचकुला में करोड़ों रुपए का प्लांट मात्र  59 लाख रुपए में पालिसी के विरुद्ध जाकर दे दिया। हरियाणा शहरी विकास प्राधिकरण को करोड़ों रुपए का चूना लगा।

प्रवीण आत्रेय ने कहा कि भुपेंद्र सिंह हुड्डा बिजली की बात करते हुए भूल गए कि बिजली के लिए "लांग टर्म पावर पर्चेज एग्रिमेंट" उनकी सरकार ने ही किए थे। जो नेता आई एम् एफ "इंटरनेशनल मानियटरिंग फंड" के विषय में ना जानता हो। ऐसे नेता को अर्थव्यवस्था पर चर्चा नहीं करनी चाहिए। 2021-22 की नीति आयोग की रिपोर्ट वर्तमान सरकार के समय में प्रदेश की आर्थिक तरक्की का बढ़ा उदाहरण है। रिपोर्ट के अनुसार आज़ हरियाणा लैंडलाक प्रदेशों की सूची में "निर्यात तैयारी सूचकांक" क्षेत्र में पहले नम्बर पर है ‌।

प्रवीण आत्रेय ने कहा कि स्वास्थ्य सेवाओं के सुधार में लगी सरकार ने वर्तमान वित्त वर्ष में प्रदेश का स्वास्थ्य बजट 8925 करोड़ रखा है, जो गत वर्ष से लगभग 21.67% ज्यादा है। यदि आंकड़ों पर गौर करें तो पता चलता है कि वर्तमान सरकार ने सत्ता में आने के स्वास्थ्य बजट में हर साल बढ़ौतरी की है। जैसे 2019-29 में 5625 करोड़, 2018-19 में 4769 करोड़, 2017-18 में 3815 करोड़, 2016-17 में 3044 करोड़। इस वित्त वर्ष में स्वास्थ्य बजट हरियाणा के कुल बजट का लगभग 6% फीसद है। 2014-15 के सालों में हालात ये थे कि प्रदेश का करीब 55-60 फीसद स्वास्थ्य बजट ही खर्च हो पाता था। लेकिन वर्तमान सरकार ने इस दिशा में ठोस निर्णयों की बदौलत 2017-18 के बाद तस्वीर बदल गई व बीते वित्त वर्ष में 85 फीसद स्वास्थ्य बजट खर्च हुई। आयुष्मान भारत के अंतर्गत भी प्रदेश के 17 लाख परिवार 5 लाख तक का मुफ्त इलाज करवा रहे हैं।

 

 


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Content Writer

Vivek Rai

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