बीके में 8 बेड का आईसीयू बनाने को निदेशालय ने भेजा प्रस्ताव, नए साल से शुरू हो सकता है काम

punjabkesari.in Friday, Dec 13, 2019 - 11:17 AM (IST)

फरीदाबाद (सुधीर राघव) : राज्य का चिकित्सा एवं स्वास्थ्य विभाग जिले के सबसे बड़े बादशाह खान अस्पताल में गंभीर मरीजों के लिए सुविधाओं में जल्द इजाफा कर सकता है। इसके संकेत चिकित्सा मंत्री अनिल विज ने बुधवार को मीडिया को अपने बयान में दिए हैं। सब कुछ ठीक रहा तो राज्य सरकार जल्द ही फरीदाबाद के बीके अस्पताल में आईसीयू बनाने के प्रस्तावों को मंजूरी दे सकती है। 

इसके लिए जिला अस्पताल में सुगबुगाहट शुरू हो गई है जिसमें 8 बेड के आईसीयू के प्रस्ताव चंडीगढ़ मुख्यालय पहुंच चुके है। अधिकारियों को उम्मीद है कि नए साल में इसपर कार्य शुरू हो जाएगा। उल्लेखनीय है कि 23 लाख की आबादी वाले शहर के सरकारी अस्पताल में 6 दशक से न आईसीयू बना है और न ही ट्रोमा सेंटर खुला है। जिससे यहां आने वाले दुर्घटना में गंभीर घायल मरीजों को वेंटीलेटर के अभाव में दिल्ली रैफर किया जा रहा है।

इससे मरीजों को तो परेशानी होती ही है वहीं तीमारदार भी परेशान होते हैं। सूत्रों की माने तो आईसीयू के जो प्रस्ताव चिकित्सा विभाग के पास हैं उसके हिसाब से ग्राउण्ड फ्लोर पर ही इमरजेंसी के पास ही आईसीयू बनाया जा सकता है। जिस पर करीब 20 से 30 लाख की लागत आने की उम्मीद जताई जा रही है। इसका लाभ फरीदाबाद के पड़ोसी जिले पलवल, मेवात के मरीजों को भी मिल सकता है।  

जबकि शहर में केवल एनआईटी-3 स्थित ईएसआईसी मेडिकल कॉलेज एवं अस्पताल को छोड़कर एक भी सरकारी अस्पताल में यह व्यवस्था नहीं है। उसमें भी केवल ईएसआईसी के करीब साढ़े 6 लाख बीमा धारकों को ही उपचार दिया जाता है। गैरबीमा धारकों गंभीर परिस्थित में बेहर उपचार के लिए निजी अस्पतालों का ही सहारा लेना पड़ता है। इसमें उन्हें मोटी रकम खर्च करनी पड़ती है। साथ ही परेशानियों का सामना करना पड़ रहा है।

बीके में आईसीयू बनाने के लिए काफी समय से प्रयास किया जा रहा है। सूत्रों के अनुसार इसके लिए साल-2017 में भी स्वास्थ्य निदेशालय की ओर से प्रपोजल मांगा गया था। उस दौरान सीएमओ डॉ गुलशन अरोड़ा ने प्रपोजल तैयार कर मुख्यालय के पास भेजा भी था। लेकिन उसे अमलीजामा नहीं पहनाया गया।

डॉक्टर,नर्स की होगी नियुक्ति
बीके अस्पताल के एक अधिकारी ने बताया कि आईसीयू के लिए सारी व्यवस्था अलग से की जाएगी। आईसीयू के लिए विशेषज्ञ डॉक्टरों की नियुक्ति के साथ 20 से ज्यादा नर्स की नियुक्ति की जाएगी।


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Isha

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