सी.एम. विंडो में दी शिकायत में जांच अधिकारी पर लगा बयान से छेड़छाड़ का आरोप

punjabkesari.in Saturday, Apr 14, 2018 - 08:12 AM (IST)

हिसार(ब्यूरो): हिसार सैक्टर-16 निवासी राजकुमार पंवार ने जारी एक प्रेस विज्ञप्ति में बताया कि उन्होंने अग्रोहा ब्लॉक किरमारा गांव के पटवारी रामसिंह के खिलाफ भ्रष्टाचार संबंधी एक शिकायत 19 फरवरी 2018 को सी.एम. विंडो में देकर कार्रवाई की मांग की थी। जिस पर जांच अधिकारी ने उनके बयान दर्ज करवाए व पूछा कि वे क्या चाहते हैं तो उन्होंने पटवारी पर विभागीय कार्रवाई की मांग की। 

उन्होंने अपने बयान दर्ज करवाए कि वे उक्त पटवारी पर कार्रवाई चाहते है। जबकि जांच अधिकारी ने सी.एम. विंडो पर उनकी शिकायत को बंद करते हुए उनके बयान की जो प्रति लगाई उसमें छेड़छाड़ करके  ‘ना’ जोड़ दिया गया और उनकी शिकायत को गलत तरीके से बंद कर दिया गया।

जांच अधिकारी ने उन्हें पटवारी पर कार्रवाई के लिए लिखित शिकायत देने के लिए कहा। जिस पर उन्होंने अपने बयान  में ‘राजकुमार पुत्र दुनीचंद गांव किरमारा का निवासी हूं। मुझे सी.एम. विंडो में एप्लिकेशन की पैरवी के लिए तहसील में बुलाया गया है, मैं पटवारी पर कार्रवाई चाहता हूं’ लिखा था।

जबकि उनकी बंद की गई शिकायत में जो बयान की कॉपी लगाई गई है। उसमें कार्रवाई के आगे ना लगा दिया गया जो उनकी हैंड राइटिंग में नहीं है और उस पेन से मेल भी नहीं खाता व अलग से लिखा हुआ स्पष्ट दिखाई दे रहा है। जिससे इसकी जांच संदेह के घेरे में है। उन्होंने कहा कि वे दोबारा से शिकायत दर्ज कर इस मामले में पुन: कार्रवाई की मांग करेंगे। इसके अलावा जिन्होंने उनकी शिकायत में बदलाव किए हैं उनके खिलाफ भी कार्रवाई की मांग करेंगे।

राजकुमार पंवार ने बताया कि उन्होंने इंतकाल रिकॉर्ड में चढ़वाने के लिए अग्रोहा मंडल के पटवारी राम सिंह से सम्पर्क किया। जिस पर उन्होंने 8-10 दिन बाद आने की बात कही। जब वे 8 दिन बाद इंतकाल लेने गए तो पटवारी ने उनसे इंतकाल के लिए 1000 रुपए फीस के रूप में देन की मांग की। जिस पर उन्होंने इसे ज्यादा बताया तो पटवारी ने उनसे 700 रुपए लिए। जबकि इस नकल की सरकारी फीस केवल 30 रुपए होती है।

कुछ दिनों बाद जब उन्हें अपनी जमीन के कागजातों की जरूरत पड़ी तो वे इंतकाल चढ़ी हुई फरद निकलवाने के लिए कार्यालय गए। जहां पर कम्प्यूटर ऑपरेटर ने बताया कि उनकी जमीन का इंतकाल तो रिकॉर्ड में चढ़ा ही नहीं। जबकि पटवारी ने उनसे इंतकाल चढ़ाने की फीस भी ले ली थी।

जब उन्होंने इंतकाल की कॉपी लेने की फीस पूछी तो कम्प्यूटर ऑपरेटर ने 30 रुपए बताई और कहा कि अभी तक उनकी जमीन इंतकाल की कॉपी रिकॉर्ड में स्कैन ही नहीं हुई है। उन्होंने कहा कि अब वे पुन: शिकायत दर्ज करवाकर इसके खिलाफ कार्रवाई की मांग करेंगे और जिन अधिकारी/कर्मचारियों ने उनके बयान से छेड़छाड़ की है उनके खिलाफ भी कार्रवाई की मांग करेंगे।
 


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Rakhi Yadav

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